सदस्य सचिव की कलम से ………………

 

मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम की नगरी अयोध्या में बैंक ऑफ बड़ौदा के संयोजन में गठित नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति अयोध्या के विभिन्न केंद्र सरकार के कार्यालयों एवं उपक्रमों का एक साझा मंच है जोकि राजभाषा हिंदी के कार्यान्वयन में अहम भूमिका निभाती है। नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति, अयोध्या की छःमाही पत्रिका “अवध गरिमा” द्वारा राजभाषा व साहित्य प्रेमी अपने दैनंदिन कामकाज के साथ अपनी रचनात्मक अभिरूचियों का संवर्धन करते हैं।

हमारे विचारों एवं भावों को प्रभावशाली एवं सार्थक रूप में प्रकट करने का माध्यम भाषा है। हमारे देश के बड़े भू-भाग की भाषा हिंदी है इसलिये इसे राजभाषा का विशेष दर्जा प्रदान किया गया। जहाँ तक हिंदी के सामाजिक संदर्भ की बात है, उसका स्वरूप वैविध्यपूर्ण है, इसलिये अलग-अलग वर्गों, क्षेत्रों, समुदायों एवं व्यवसाय के लोग अपने-अपने तरीके से हिंदी बोलते हैं। हिंदी भाषा का यह लचीलापन ही उसकी शक्ति है।

भाषाएं विचारों की संवाहक होती है, विचार मनुष्य की अंतरात्मा की अभिव्यक्ति करते हैं। ऐसे में हमारे विचारों का उद्गार यदि हमारी मातृभाषा में प्रकट हो तो हम अपने मनोभावों को ठीक प्रकार से व्यक्त करने में सक्षम हो सकते हैं।

समिति के सभी कार्यालय भारत के नव निर्माण में किसी न किसी रूप में निरंतर योगदान दे रहे हैं और साथ ही अपनी सांस्कृतिक एवं बौद्धिक विरासत को संजोकर द्रुत गति से निरंतर अग्रसर हो रहे हैं। मुझे पूर्ण विश्वास है कि आप सभी राष्ट्र एवं भाषा की प्रगति के लिए सदैव प्रयासरत रहेंगे। आपके जीवन में नए अवसर, सुख, समृद्धि और संपन्नता की बहुलता रहे, ऐसी मेरी कामना है…

शुभकामनाओं के साथ…!

अम्बरीश वर्मा
सदस्य सचिव, नराकास, अयोध्या
एवं वरिष्ठ प्रबंधक (राजभाषा), बैंक ऑफ़ बड़ौदा
क्षेत्रीय कार्यालय, अयोध्या